बदहाली व यात्रीभार में कमी पर आंसू बहा रहा सांगानेर एयरपोर्ट, पिछली सरकार के समय था देश का न.1 हवाईअड्डा

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    जयपुर। तीन साल पहले तक भारत के नम्बर वन हवाईअड्डों में शुमार जयपुर का सांगानेर एयरपोर्ट अब अपनी बदहाली पर आंसू बहा रहा है। अव्यवस्थाओं के कारण राजस्थान के सबसे बड़े अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर लगातार फ्लाइट के संचालन में काफी कमी आ गई है। जिसके कारण एयरपोर्ट को अब यात्री भार की कमी का भी सामना करना पड़ रहा है। यदि अब भी समय रहते सरकार व एयरपोर्ट प्रशासन नहीं चेता तो कभी देश के शीर्ष हवाईअड्डों में शामिल यह एयरपोर्ट बहुत जल्द रैंकिंग में नीचले पायदान पर नजर आएगा।

    एयरपोर्ट प्रशासन की मानें तो इसका मुख्य कारण जेट एयरवेज की सेवाएं बंद होना है। लेकिन यात्रियों के अनुसार यात्री भार में कमी का प्रमुख कारण सरकार व प्रबंधन की नाकामी है। उनका कहना है कि जयपुर एयरपोर्ट पर फ्लाइटस का संचालन समय पर नहीं होता और ना ही यात्रियों को इसके बारे में समय पर सूचना दी जाती है। इसके अलावा प्रबंधन द्वारा कभी भी फ्लाइट्स को अचानक रद्द तक कर दिया जाता है, जिससे लोगों में सांगानेर एयरपोर्ट के प्रति अविश्वसनीयता बढ़ी है। यही कारण है कि यात्री हवाई यात्रा के लिए अब लोग जयपुर की जगह दिल्ली व इन्दौर जैसे शहरों को तरजीह देने लगे हैं।

    हवाई मामलों के जानकारों की मानें तो सांगानेर एयरपोर्ट आस-पास के एयरपोर्ट की तुलना में सुविधाओं के मामले में लगातार पीछे होता जा रहा है। इंदौर, लखनऊ, असम एयरपोर्ट्स की तुलना में पहले सांगानेर एयरपोर्ट पर ज्यादा यात्री भार रहता था तथा सुविधाएं भी ठीक थी। लेकिन बीते कुछ माह से यह एयरपोर्ट अब बिछड़ता ही जा रहा है। सांगानेर एयरपोर्ट पर जबसे जेट एयरवेज की सेवाएं बंद हुई है यह एयरपोर्ट पिछड़ता ही जा रहा है। दूसरे शहरों से कनेक्टिविटी की बात करें तो पहले जयपुर से देश के 26 बड़े शहरों के लिए फ्लाइट्स का संचालन होता था लेकिन अब 21 शहरों के लिए ही हवाई जहाज उड़ानें भरती हैं। वहीं यह बात भी स्पष्ट है कि यदि सरकार और एयरपोर्ट प्रबंधन अभी भी नहीं चेता तो बहुत जल्द यात्री भार और भी कम हो जाएगा।

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