जयपुर। भारत-चीन बॉर्डर पर गलवान घाटी में चार दिन पहले हुई झड़प के दौरान वहां तैनात राजस्थान के जांबाज भारतीय सेना के सिख सैनिक सुरेन्द्र सिंह ने अपने पास रखी कृपाण से चीनी सैनिकों का मुकाबला किया। सुरेन्द्र सिंह ने मुकाबले के लिए कृपाण (कटार) को ही हथियार के रूप में इस्तेमाल करते हुए अपने साथ कई भारतीय सैनिकों की जान बचाई। सिंह ने कृपाण से 3-4 चीनी सैनिकों को घायल कर दिया था और उनके पास मौजुद हथियारों को उनसे छुड़ाकर भारतीय सैनिकों को दे दिया। इस झड़प में सुरेन्द्र सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए। उनके 12 टांके आए हैं।
अलवर के रहने वाले है सुरेन्द्र सिंह
झड़प के 15 घंटे बाद बुधवार को होश में आए सुरेन्द्र सिंह ने यह बात अपनी पत्नी से हुई बातचीत में बताई। बकौल सुरेंद्र की पत्नी अगर कृपाण नही होती तो चीनी सैनिक उन्हें जिंदा नहीं छोड़ते। चीनी सैनिकों के द्वारा कायराना तरीके से किये गए हमले में अलवर के जांबाज सुरेंद्र सिंह के घायल होने के बाद उनके परिजन चिंतित हैं। सुरेंद्र सिंह की पत्नी गुरप्रीत कौर अपने चार बच्चों के साथ अलवर रहती हैं। सिंह के 3 बेटियां शरणदीप कौर, मनदीप कौर, परबजोत कौर और एक बेटा मनमीत सिंह है। सुरेन्द्र सिंह के पिता बलवंत सिंह और मां प्रकाश कौर गांव में रहते हैं।